
नई दिल्ली। वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर भारत और चीन के बीच जारी तनाव के बीच, भारत अपनी सैन्य क्षमताओं को बढ़ाने की दिशा में लगातार प्रयासरत है। अब अमेरिका ने संकेत दिया है कि भारत और अमेरिका मिलकर स्ट्राइकर लड़ाकू वाहन की नई पीढ़ी को बनाने पर विचार कर रहे हैं। अमेरिकी उप विदेश मंत्री कर्ट कैंपबेल ने बुधवार को इस संबंध में नई दिल्ली में हुई बैठकों के बाद इस पर चर्चा को आगे बढ़ाने का संकेत दिया है।
नई दिल्ली में हुई महत्वपूर्ण बैठकें
हाल ही में व्हाइट हाउस के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवन ने अपनी नई दिल्ली यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल से मुलाकात की थी। बैठक के दौरान भारत और अमेरिका ने उच्च प्रौद्योगिकी क्षेत्रों में एक दूसरे के सहयोग को और मजबूत करने पर सहमति जताई। ICET (महत्वपूर्ण और उभरती प्रौद्योगिकी) पर अमेरिका-भारत पहल की प्रमुख बैठकों में सुलिवन के साथ कैंपबेल भी मौजूद थे।
स्ट्राइकर के सह-उत्पादन में भारत की रुचि
कैंपबेल ने एक ऑनलाइन ब्रीफिंग में बताया कि भारत ने बैठकों के दौरान स्ट्राइकर लड़ाकू वाहन के सह-उत्पादन में रुचि दिखाई है। इसके बाद अमेरिकी सेना भारतीय सेना के सामने स्ट्राइकर की क्षमताओं का प्रदर्शन करेगी।
READ MORE: भारत-मालदीव: एक झटके में बदले मालदीव के सुर, चीन में भारत की प्रशंसा करते दिखे मालदीव के मंत्री
रूस पर निर्भरता कम करने की पहल
भारत ने अपनी सैन्य क्षमताओं को बढ़ाने के लिए स्ट्राइकर बख्तरबंद वाहनों के सह-उत्पादन की योजना बनाई है। इस समझौते के बाद स्ट्राइकर का विदेश में पहला उत्पादन शुरू हो जाएगा। इस पहल से भारत को रूसी हथियारों पर निर्भरता कम करने में मदद मिलेगी, जो वर्तमान में भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले हथियारों का लगभग 60 प्रतिशत हिस्सा है।
संवेदनशील प्रौद्योगिकी साझाकरण पर अमेरिका की चिंताएं
जब कैंपबेल से ये पूछा गया कि अमेरिका और भारत के साथ संवेदनशील प्रौद्योगिकी साझा करने के बारे में आप कितना चिंतित है, तो इस पर जवाब देते हुए उन्होंने कहा, ‘हमने पूरी तरह से स्पष्ट कर दिया है कि भारत और रूस के बीच जारी संबंधों से कौन से क्षेत्रों (सैन्य और तकनीकी रूप से) में प्रभावकारी असर हो सकते हैं। मुझे लगता है कि हम उन जुड़ावों को कुछ कम करने के लिए जो भी कदम उठा सकते हैं, जरूर उठाएंगे। इसके साथ ही हमने इसको लेकर अपनी कुछ चिंताएं भी व्यक्त की हैं।’
एमक्यू-9बी ड्रोन पर भी चर्चा
कैंपबेल ने भारत को एमक्यू-9बी ड्रोन की स्थिति से जुड़े सवालों का जवाब देते हुए कहा कि ड्रोन के लिए प्रस्ताव और स्वीकृति का लेटर मार्च की शुरुआत में ही भारत को दिया गया था। उन्होंने कहा, ‘फिलहाल हम आगे बढ़ने के लिए हस्ताक्षर का इंतजार कर रहे हैं। जनरल एटॉमिक्स इस बिक्री के ब्योरे के लिए भारतीय रक्षा मंत्रालय के साथ बातचीत कर रहा है।’
यह भी पढ़ें:
- A couple of things to Know About Internet Dating – MeetKing Website
- Sweet Bienestar Ücretsiz Demo İle Oyun Deneyimi
- أهم النصائح قبل استخدام برومو كود 1xbet 2025
- Сравнение Программ Лояльности в Онлайн Казино: Что Предлагают Различные Платформы?
- FlirtyMature Assessment CHANGED 2023 |
- A Melhor Plataforma De Apostas E Casino Online